बिटिया के आने से
महक उठी बगिया
पायल खनकाने से
-पूनम मिश्रा 'पूर्णिमा'
मधुमास सकल आया
फूल खिले दिल के
लो भँवरा मँडराया
-पूनम मिश्रा 'पूर्णिमा'
बागों मे फूल खिले
महकी आज सदा
जीवन को आ छूले
-पूनम मिश्रा 'पूर्णिमा'
ऊँची सी डाली है
बैठा है पाखी
वो एक सवाली है
-पूनम मिश्रा 'पूर्णिमा'
दीपक की ज्योति जली
जुगनू भी चमके
महकी ये रात कली
-पूनम मिश्रा 'पूर्णिमा'
दुनिया के मेले में
सपने खोज रहे
हम आप अकेले में
-पूनम मिश्रा पूर्णिमा
जीवन की ये गाड़ी
सुख-दुख हैं डिब्बे
चलती सीधी-आड़ी
-पूनम मिश्रा 'पूर्णिमा'