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2024-03-05

ऐसे बदला मौसम

ऐसे बदला मौसम 
स्वेटर उतर गए
गर्माया है आलम 

        -रेखा राजवंशी

बासंती पुरवाई

बासंती पुरवाई 
गंध गुलाबों की 
अपने संग ले आई 

        -रेखा राजवंशी

सावन का महीना है

सावन का महीना है 
झूले के ऊपर 
इक शोख़ हसीना है 

        -रेखा राजवंशी

दुनिया का मेला है

दुनिया का मेला है 
इतने लोग मगर 
हर व्यक्ति अकेला है 

    -रेखा राजवंशी